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शरद पूर्णिमा पर आज चन्द्रमा बरसाएंगे अमृत वर्षा : ठाकुरजी धारण करेंगे श्वेत वस्त्र

jodhpur

जोधपुर, 06 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । आश्विन शुक्ल पूर्णिमा (शरद पूर्णिमा) आज मनाई जाएगी। पूर्णिमा तिथि आज दोपहर 12.23 बजे प्रारंभ हो गई जो सात अक्टूबर को सुबह 9.06 बजे तक रहेगी। शरद पूर्णिमा के उपलक्ष में आज प्रमुख मन्दिरों में विशेष आयोजन होंगे।

आश्विन मास शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा के दिन चंद्रमा पृथ्वी के सबसे निकट होता है एवं अपनी 16 कलाओं से पूर्ण होता है। इस रात्रि को किरणों से अमृत बरसता है। मान्यता है कि इस रात्रि को दूध की खीर बनाकर चंद्रमा की रोशनी में रखते हैं और अगले दिन उस खीर को खाने से अनेक प्रकार की बीमारियां दूर हो जाती है। पूर्णिमा की चांदनी में खीर बनाकर खुले आसमान के नीचे रखने के पीछे वैज्ञानिक तर्क यह है कि चन्द्रमा के औषधीय गुणों से युक्त किरणें पडने से खीर अमृत के समान हो जाती है। उस खीर का सेवन लाभप्रद होता है।

यहां होंगे आयोजन

कटला बाजार कुंज बिहारी मंदिर में ठाकुरजी का श्वेत वस्त्र से शृंगार कर खीर-खाजा व ऋतु फलों का भोग लगाया जाएगा। मंदिर प्रांगण में चल विग्रह के समक्ष भजन व संकीर्तन का आयोजन होगा। जूनी मंडी स्थित गंगश्यामजी मंदिर में भी विशेष श्रृंगार व भोग लगाया जाएगा। रातानाडा श्रीकृष्ण मंदिर में पूर्णिमा की रात को 108 बर्तनों में खीर चन्द्रमा की किरणों में रखी जाएगी। अगले दिन सुबह पांच बजे ठाकुरजी और राधा रानी को भोग अर्पित कर प्रसाद को भक्तों में वितरित किया जाएगा। बिश्नोई समाज की ओर से गुरु जभेश्वर मंदिर, जाजीवाल धोरा धाम में खीर उत्सव आयोजित होगा। फतेह सागर क्षेत्र के रामानुजकोट मंदिर, चौपासनी श्याम मनोहर प्रभु मंदिर और अजनेश्वर आश्रम में भजन, संकीर्तन और खीर भोग का आयोजन होगा।

यश सेवा भारती संस्थान की ओर से शरद पूर्णिमा पर भव्य महारास और खीर महोत्सव का आयोजन ऋषिकुल धाम के महामंडलेश्वर स्वामी शिवस्वरूपानंद के सान्निध्य में किया जाएगा। यह कार्यक्रम शाम 7.30 बजे प्रारंभ होकर अल सुबह 4.30 बजे तक चलेगा। आयुर्वेदाचार्य डॉ. ज्योति प्रताप ने बताया कि कार्यक्रम के अंत में 51 जड़ी-बूटियों से निर्मित आयुर्वेदिक खीर प्रसादी वितरित की जाएगी। महोत्सव में गीता सप्ताह के प्रतिभागियों का समान किया जाएगा।

(Udaipur Kiran) / सतीश

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