RAJASTHAN

दुष्कर्म के दोषी युवक को 20 साल के कठोर कारावास की सजा

पोक्सा कोर्ट झुंझुनू का फैसला

झुंझुनू, 30 सितंबर (Udaipur Kiran News) । झुंझुनू की पॉक्सो कोर्ट ने एक नाबालिग लड़की से दुष्कर्म करने के दोषी युवक को 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 1 लाख 31 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। जुर्माना अदा नहीं करने पर दोषी को 3 साल के अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी। झुंझुनू की पॉक्सो कोर्ट के विशिष्ठ न्यायाधीश इसरार खोखर ने यह फैसला सुनाया।

मामला 8 फरवरी 2023 का है जब पीड़िता के पिता ने मेहाड़ा थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि वह पिछले करीब 7 साल से झुंझुनू जिले के एक गांव में परिवार के साथ रह रहे है। उनकी बड़ी बेटी 6 फरवरी 2023 को घर से बिना बताए चली गई थी। उन्हें शंकर अहीरवार (25) नाम के लड़के पर शक था कि वह उनकी बेटी को बहला-फुसलाकर अपने साथ ले गया है। शंकर मध्य प्रदेश के छत्तरपुर जिले के चांदना थाना इलाके के पंचमपुर निवासी है। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की और नाबालिग को दस्तयाब किया। जांच के बाद आरोपित शंकरलाल को गिरफ्तार किया और उसके खिलाफ संबंधित कोर्ट में चालान पेश किया। लोक अभियोजक भाम्बू ने कोर्ट को बताया कि पीड़िता रेप के कारण प्रेग्नेंट हो गई थी जिसके बाद विधिक प्रक्रिया अपनाते हुए गर्भपात भी कराया गया।

दोषी शंकरलाल पीड़िता के घर अक्सर आता-जाता रहता था। रेप की वारदात को अंजाम देने के लिए उसने एक खौफनाक तरीका अपनाया। वह पीड़िता के माता-पिता को सब्जी में नशे की गोलियां देता था। जब परिवार के सदस्य सो जाते थे तब वह पीड़िता को छत पर बुलाकर उसके साथ दुष्कर्म करता था। आरोपित ने पीड़िता के साथ इस तरह 10-15 दिन तक बलात्कार किया। इसके अलावा वह पीड़िता को दूसरी जगह भी ले गया जहां उसने उसके साथ फिर से रेप किया।

शंकरलाल पीड़ित नाबालिग के मामा का दोस्त था और मेहाड़ा में ईंट भट्टे पर मामा के साथ काम करता था। इसलिए घर आना जाना था इसके बाद जिस घर में पीड़िता रहती थी। उसी घर में कमरा किराए पर ले लिया। पीड़िता के ही मकान में रहने लगा। इस दौरान घर में खाना बनता तो आपस में सब्जी कोई खाने सामान एक्सचेंज कर लेते थे। इसी दौरान वो सब्जी में नशीली गोलियां मिला देता था।

कोर्ट ने मामले पर सभी साक्ष्यों का बारीकी से विश्लेषण किया और आरोपित शंकर को पॉक्सो एक्ट और अन्य विभिन्न धाराओं के तहत दोषी माना। दोषी शंकर को 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई। साथ ही 1 लाख 31 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया।

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(Udaipur Kiran) / रमेश

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