West Bengal

कोलकाता में मौतें प्राकृतिक नहीं बल्कि शासन की विफलता का परिणाम : अमित मालवीय

अमित‌ मालवीय

कोलकाता, 24 सितम्बर (Udaipur Kiran News) । कोलकाता में सोमवार की आधी रात बाद बादल फटने से हुई भारी बारिश और जलभराव में खुले बिजली के तारों के कारण 8 लोगों की करंट से मौत हो गई। इस दुखद घटना के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने निजी बिजली वितरण कंपनी सीईएससी को जिम्मेदार ठहराया।

उधर, भाजपा के आईटी सेल प्रमुख और पश्चिम बंगाल सह प्रभारी अमित मालवीय ने बुधवार को मुख्यमंत्री पर तीखा हमला करते हुए कहा कि यह केवल “दोषारोपण की राजनीति” है और असली जिम्मेदारी से बचने की कोशिश है।

अमित मालवीय ने सोशल मीडिया पर लिखा कि ममता बनर्जी हमेशा की तरह जिम्मेदारी लेने के बजाय दूसरों पर ठीकरा फोड़ रही हैं। उनके मुताबिक सीईएससी की मनमानी और एकाधिकार मुख्यमंत्री के संरक्षण में ही कायम है। उन्होंने कहा कि लोगों की पीड़ा के तीन बड़े कारण हैं – सीईएससी की मनमानी, ममता बनर्जी की लापरवाही और कोलकाता नगर निगम का ढीला रवैया।

मालवीय ने सवाल उठाया कि एशियन डेवलपमेंट बैंक से नालों की सफाई और जलनिकासी सुधार के लिए मिले 4300 करोड़ आखिर कहां गए। उन्होंने पूछा कि अगर इतनी बड़ी राशि खर्च हुई होती तो क्यों आज भी सड़कों पर खुले तार लटक रहे हैं और हर साल लोगों की जान करंट लगने से जा रही है।

मालवीय ने आरोप लगाया कि यह मौतें प्राकृतिक आपदा का नतीजा नहीं बल्कि शासन की नाकामी हैं। उन्होंने कहा कि जवाबदेही से भागने के बजाय मुख्यमंत्री को बताना चाहिए कि इस त्रासदी के लिए असली जिम्मेदार कौन है।

उल्लेखनीय है कि, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा था कि सीईएससी को इन मौतों की पूरी जिम्मेदारी लेनी चाहिए और तुरंत आपात आधार पर अपने कर्मचारी तैनात करने चाहिए ताकि इस तरह की त्रासदी दोबारा न हो। उन्होंने यह भी कहा कि पश्चिम बंगाल से लाभ कमाने वाली यह कंपनी राजस्थान में ढांचागत सुधार करती है लेकिन बंगाल में बार-बार कहने के बावजूद कोई ध्यान नहीं देती। साथ ही ममता बनर्जी ने यह भी मांग की कि जिन परिवारों ने अपनों को खोया है, उनमें से कम से कम एक सदस्य को सीईएससी नौकरी दे।——————

(Udaipur Kiran) / ओम पराशर

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