


– नवरात्र भर बंद नहीं होंगे मंदिर के कपाट, चरण स्पर्श पर प्रतिबंध
– वैभव और आध्यात्मिक महत्ता के साथ उभरी सजावट, जगमगा उठा विंध्य पर्वत
मीरजापुर, 21 सितंबर (Udaipur Kiran News) । शारदीय नवरात्र का शुभारंभ 22 सितंबर से होगा और रविवार से ही मां विंध्यवासिनी के दरबार में श्रद्धालुओं का ताता लग गया है। विंध्यधाम को रंग-बिरंगी झालरों, प्राकृतिक फूलों और पारंपरिक सजावट से सजाया गया है। इससे यह धार्मिक केंद्र अपने पूरे वैभव और आध्यात्मिक महत्ता के साथ उभरा है।
विंध्यवासिनी मंदिर के परिक्रमा पथ और आसपास के मार्गों को श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के लिए बैरिकेडिंग, अस्थाई टेंट और ध्वनि विस्तारक यंत्रों से सुसज्जित किया गया है। पूरे मेला क्षेत्र में सीसीटीवी निगरानी और कंट्रोल रूम के माध्यम से सतर्कता सुनिश्चित की गई है।
हर गतिविधियों पर पैनी नजर, सुविधा के बेहतर इंतजाम
मेला क्षेत्र में तीन थानों की पुलिस तैनात है। सादे वर्दी में महिला और पुरुष पुलिसकर्मी, एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीम, तथा खोया-पाया केंद्र जैसी व्यवस्थाओं के साथ सुरक्षा मानक अंतरराष्ट्रीय स्तर के अनुरूप बनाए गए हैं। नगर पालिका ने घाटों पर अस्थाई बैरिकेडिंग, विद्युत प्रकाश, शौचालय और महिलाओं के वस्त्र बदलने के स्थान का निर्माण किया है। श्रद्धालुओं को गर्मी और धूप से बचाने के लिए प्रमुख मार्गों पर अस्थाई टेंट लगाए गए हैं।
नवरात्र भर हर पहर दर्शन देंगी मां विंध्यवासिनी
मां विंध्यवासिनी के गर्भगृह में दर्शन के लिए गेट नंबर 2 और 4 से कतार, झांकी दर्शन के लिए गेट नंबर 3 और वीआईपी श्रद्धालुओं के लिए गेट नंबर 1 से प्रवेश की व्यवस्था की गई है। नवरात्र के नौ दिनों तक मां विंध्यवासिनी का कपाट खुले रहेंगे। जबकि चरण स्पर्श पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगा।
विंध्य पर्वत पर महाकाली और अष्टभुजा का दरबार भी सजा
धर्म-श्रद्धा के केंद्र विंध्य पर्वत पर विराजमान महाकाली और अष्टभुजा के मंदिर भी रंग-बिरंगी झालरों और सजावट से सजे हैं। नवरात्र के दौरान यहां भी देश-विदेश से आए श्रद्धालुओं का निरंतर आगमन होता है और जिला प्रशासन ने हर भक्त के सुरक्षित और सुगम दर्शन के लिए पूरी व्यवस्था सुनिश्चित की है।
धार्मिक महत्व
विंध्यधाम न केवल भारत में, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हिंदू धर्म के अनुयायियों के लिए महत्वपूर्ण तीर्थस्थल माना जाता है। शारदीय नवरात्र के दौरान यहां का सुरक्षा, सुविधा और भक्ति का संगम हर भक्त को आध्यात्मिक और सांस्कृतिक अनुभव कराएगा।
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(Udaipur Kiran) / गिरजा शंकर मिश्रा
