
नाहन, 15 सितंबर (Udaipur Kiran) । सिरमौर जिला का प्रसिद्ध धार्मिक स्थल चूड़धार न केवल धार्मिक आस्था का केंद्र है, बल्कि इसकी रहस्यमयी पगडंडियां और हरियाली पर्यटकों को भी आकर्षित करती हैं। शिरगुल देवता के दर्शन के लिए यहां सालभर श्रद्धालुओं की आवाजाही बनी रहती है। हालांकि, इस वर्ष भारी बारिश के कारण कुछ समय के लिए यात्राएं धीमी रहीं, लेकिन अब मौसम साफ होने पर श्रद्धालुओं ने एक बार फिर चूड़धार का रुख करना शुरू कर दिया है।
चूड़धार की यात्रा मुख्यतः नौराधार से पैदल मार्ग द्वारा की जाती है, लेकिन यात्रा मार्ग में कई ऐसे स्थान हैं जहां मोबाइल नेटवर्क बिल्कुल नहीं मिलता, जिससे श्रद्धालुओं को दिशा भ्रम और संपर्क की गंभीर समस्या का सामना करना पड़ता है।
पर्यावरण प्रेमी मायाराम पुंडीर ने बताया कि जमनाला, तिसरी और चूड़धार जैसे ऊपरी क्षेत्रों में नेटवर्क की अत्यधिक कमी है। दूर-दराज़ से आने वाले श्रद्धालु अगर मार्ग भटक जाएं, तो संपर्क का कोई साधन नहीं बचता। उन्होंने प्रशासन से आग्रह किया कि कम से कम दो स्थानों पर मोबाइल टावर लगाए जाएं, ताकि नेटवर्क उपलब्ध हो सके और यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित हो।
श्रद्धालुओं का कहना है कि हर वर्ष कई लोग नेटवर्क न होने के कारण अपने गंतव्य तक नहीं पहुंच पाते और रास्ता भटक जाते हैं। यदि इस मार्ग पर बुनियादी सुविधाएं, विशेषकर संचार व्यवस्था उपलब्ध कराई जाए, तो यह धार्मिक स्थल पर्यटन की दृष्टि से और अधिक विकसित हो सकता है।
(Udaipur Kiran) / जितेंद्र ठाकुर
