Uttar Pradesh

वायरल फीवर से ग्रसित मरीजों की संख्या में इजाफा, ओपीडी में रोजाना पहुंच रहे सौ से भी ज्यादा मरीज : डॉ एस के गौतम

डॉ एसके गौतम की फ़ाइल फोटो

कानपुर, 13 सितंबर (Udaipur Kiran) । मौसम में बदलाव होने के चलते जिले में वायरल फीवर का असर बढ़ने लगा है। ऐसे में जिला अस्पतालों में बुखार से ग्रसित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है। हैलट अस्पताल में लगने वाली ओपीडी में रोजाना 600 से 800 मरीज आते हैं। जिनमें से सौ मरीज बुखार से ग्रसित पाए जा रहे हैं। अमुमन यह वायरल ठीक होने में सात से 10 दिनों का समय लेता है। शुरुआत में खांसी, जुखाम, पेट दर्द जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। समय पर इलाज न करवाने पर यह डायरिया कभी रूप ले लेता है। ऐसे में इस तरह की समस्या होने पर तुरंत ही डॉक्टर से संपर्क करें। यह बातें जानकारी रविवार को गणेश शंकर विद्यार्थी मेडिकल कॉलेज मेडिसिन प्रोफेसर डॉक्टर एसके गौतम ने दी।

बदलती हुई लाइफ स्टाइल, शरीर के साथ खिलवाड़ और मौसम की मार की वजह से तरह-तरह की बीमारियां पनप रही हैं। वर्तमान में वायरल फीवर काफी तेजी से फैल रहा है। जिस वजह से जिला अस्पतालों में मरीजों की संख्या में दिन पर दिन इजाफा हो रहा है। हैलट अस्पताल में लगने वाली ओपीडी में रोजाना 100 से भी ज्यादा वायरल फीवर से ग्रसित मरीज पहुंच रहे हैं। इन मरीजों में सबसे ज्यादा बच्चों और बुजुर्गों में यह लक्षण पाया जा रहा है।मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन प्रोफेसर डॉ एसके गौतम ने बताया कि वायरल फीवर की शुरुआत में सबसे पहले मरीज को गले में दर्द, खांसी, जुकाम, पेट दर्द, भूख न लगना, चक्कर आना और कमजोरी लगने जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। यदि समय पर इसका इलाज न कराया जाए। तो यह डायरिया का भी ले लेता है। ऐसे में इस तरह के किसी भी लक्षण होने पर तुरंत ही डॉक्टर से संपर्क करें।

आगे उन्होंने बताया कि इसकी रोकथाम के लिए सुबह उठने से लेकर रात सोने तक अपना शेड्यूल बनाकर रखें। जिसमें पर्याप्त नींद छह से आठ घंटे, खाने में ज्यादा से ज्यादा प्रोटीन, समय पर उठकर योग करने जैसी बातें बताईं हैं। इसके अलावा भीड़ भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचे। साथ ही समय-समय हाथों को साबुन या फिर सेनेटाइजर से साफ करते रहें।

(Udaipur Kiran) / रोहित कश्यप

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