
नई दिल्ली, 11 सितंबर (Udaipur Kiran) । दिल्ली उच्च न्यायालय ने अभिनेत्री ऐश्वर्या राय के नाम, आवाज और तस्वीरों के साथ उनकी व्यक्तिगत चीजों के अनधिकृत रुप से इस्तेमाल करने पर रोक लगा दी है। जस्टिस तेजस करिया की बेंच ने कहा कि किसी भी व्यक्ति के व्यक्तित्व से संबंधित किसी भी प्रतीक का इस्तेमाल उसके निजता के अधिकार का उल्लंघन है और इससे उसकी गरिमा के साथ जीने के अधिकार भी प्रभावित होते हैं।
उच्च न्यायालय ने ऑनलाइन प्लेटफार्म्स को निर्देश दिया कि वो बिना अनुमति के ऐश्वर्या राय के व्यक्तित्व से जुड़ी किसी भी चीज का इस्तेमाल नहीं करें। कोर्ट ने कहा कि एआई और डीपफेक जैसी तकनीक का इस्तेमाल कर उनके नाम और छवि का गलत उपयोग कर न केवल आर्थिक रुप से नुकसान पहुंचा रहे हैं, बल्कि उनकी प्रतिष्ठा, गरिमा और सद्भावना को भी नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
सुनवाई के दौरान ऐश्वर्या राय के वकील संदीप सेठी ने कहा था कि याचिकाकर्ता की तस्वीर, और उनकी पसंद नापसंद का लोग इस्तेमाल कर रहे हैं। लोग ऐश्वर्या राय का इस्तेमाल कर चीजें भी बेच रहे हैं। यहां तक कि पोर्न कंटेंट भी परोसे जा रहे हैं। सेठी ने कहा था कि ये आश्चर्य भरा है कि उनको फर्जी तरीके से शेयर किया जा रहा है। ऐश्वर्या राय के नाम और फोटो का इस्तेमाल कर कई लोग पैसे बना रहे हैं।
याचिका में कहा गया था कि ऐश्वर्या नेशन वेल्थ नामक एक फर्म ऐश्वर्या राय की तस्वीर का इस्तेमाल अपने लेटरहेड में चेयरपर्सन के रुप में करती है। जबकि ऐश्वर्या राय को इसके बारे में पहले से कोई जानकारी भी नहीं है। ऐसा करना पूरे तरीके से फर्जीवाड़ा है। याचिका में उन वेबसाइट और ऐप का जिक्र किया गया था, जो उनके नाम का इस्तेमाल करते पाए गए हैं।
(Udaipur Kiran) /संजय
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(Udaipur Kiran) / अमरेश द्विवेदी
