
शिमला, 07 सितंबर (Udaipur Kiran) । लोकनिर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा है कि प्रदेश में अवैध डंपिंग और अवैध सड़क निर्माण कार्यों पर अब सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि किसी भी नई सड़क निर्माण में अधिकारी लापरवाही बरतते हैं या वन संरक्षण अधिनियम का उल्लंघन होता है तो उनके खिलाफ तुरंत कार्यवाही होगी। मंत्री ने पीडब्ल्यूडी सचिव और ईएनसी को कड़े निर्देश दिए हैं कि नदी-नालों में डंपिंग पूरी तरह प्रतिबंधित है और इस नियम का उल्लंघन करने वालों पर तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
भारी बारिश और आपदा की स्थिति पर जानकारी देते हुए मंत्री ने कहा कि इस समय प्रदेश में 1250 सड़कें बंद पड़ी हैं। बारिश में अब कमी आई है और इन्हें खोलने का कार्य तेजी से जारी है। उन्होंने कहा कि हर बार आपदा के दौरान राष्ट्रीय राजमार्ग और लिंक रोड सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं। इस बार भी कई क्लवर्ट बंद होने से नुकसान कई गुना बढ़ा है।
ढली से रामपुर फोरलेन निर्माण के संदर्भ में विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि डीपीआर में इस बात पर जोर दिया जाएगा कि पहाड़ों और पेड़ों की कटिंग कम से कम हो और जहां संभव हो वहां अधिक से अधिक टनल बनाई जाएं। उन्होंने बताया कि इस बार की आपदा में लोकनिर्माण विभाग को लगभग 2500 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। फिलहाल विभाग को 1499 करोड़ रुपये की सहायता मिली है।
देवस्थलों को लेकर विक्रमादित्य सिंह ने चिंता जताई। उन्होंने कहा कि हिमाचल देवभूमि है और यहां मंदिर व तीर्थस्थान हैं, लेकिन विकास के नाम पर इनके साथ अनावश्यक छेड़छाड़ की जा रही है। हजारों करोड़ मीट्रिक टन कूड़ा देवस्थलों से निकल रहा है जिससे उनकी पवित्रता प्रभावित हो रही है। उन्होंने कहा कि इस मामले में मुख्यमंत्री से चर्चा की जाएगी और देवस्थलों पर आने-जाने की एक सीमा तय करने की मांग की जाएगी ताकि उनकी पवित्रता और मान्यताएं बनी रहें।
पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह की रिज पर लगी प्रतिमा के अनावरण को लेकर उन्होंने कहा कि इसकी तारीख पहले तय थी, लेकिन आपदा की घड़ी में लोगों की भावनाओं को देखते हुए यह कार्यक्रम स्थगित कर दिया गया है। अब इसका अनावरण अक्टूबर में किया जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रस्तावित हिमाचल दौरे पर उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री को इस त्रासदी के समय दलगत राजनीति से ऊपर उठकर प्रदेश की मदद करनी चाहिए। वह स्वयं हिमाचल को अपना दूसरा घर बताते हैं, ऐसे में उनका यहां आना जरूरी है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार को हिमाचल को आपदा प्रभावित राज्य घोषित कर निर्धारित मापदंडों के अनुसार सहायता प्रदान करनी चाहिए।
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(Udaipur Kiran) / उज्जवल शर्मा
