Uttar Pradesh

प्रधानमंत्री मोदी के विज़न को साकार करने की दिशा में बड़ा कदम: वाराणसी में पर्यटन विकास पर बीटूबी कार्यशाला

पर्यटन मंत्रालय के कार्यशाला में राज्यमंत्री ,कमिश्नर व अन्य अफसर

—राज्यमंत्री ने टूर ऑपरेटर, गाइड और पर्यटन समुदाय से आग्रह किया कि वे अपने टूर पैकेजों में शुरू की गई नई यात्राओं को शामिल करें

—11 नए पैदल मार्ग और 8 यात्रा कार्यक्रम शुरू किए गए

वाराणसी, 04 सितम्बर (Udaipur Kiran) । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के काशी को एक विश्वस्तरीय पर्यटन स्थल बनाने के विज़न को साकार करने के उद्देश्य से गुरुवार को वाराणसी में बीटूबी कार्यशाला का आयोजन किया गया। कमिश्नरी ऑडिटोरियम सभागार में आयोजित इस कार्यशाला में केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय, उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग और वाराणसी जिला प्रशासन ने संयुक्त रूप से भाग लिया।

कार्यशाला में टूर ऑपरेटरों, ट्रैवल एजेंटों और गाइडों के लिए जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें पर्यटन को बढ़ावा देने की रणनीतियों और नवाचारों पर विस्तार से चर्चा की गई। मुख्य फोकस प्रधानमंत्री मोदी की इस कल्पना पर था कि कैसे काशी, सारनाथ और आसपास के क्षेत्रों को मिलाकर पर्यटकों के ठहरने की अवधि को मौजूदा औसतन 1 दिन से बढ़ाकर कम से कम 3 दिन किया जा सकता है।

—सिर्फ 20 प्रमुख स्थल प्रचारित, नई रणनीति से 170 स्थान जोड़े गए

पर्यटन मंत्रालय द्वारा किए गए विश्लेषण में पाया गया कि अब तक केवल लगभग 20 प्रमुख स्थलों को ही आमतौर पर प्रचारित किया जा रहा था, जिसके चलते अधिकांश पर्यटक वाराणसी में सिर्फ एक दिन बिताते थे। इस स्थिति में बदलाव लाने के लिए पर्यटन मंत्रालय ने काशी और सारनाथ में 170 पर्यटक महत्व के स्थानों का चिन्हांकन किया और इन स्थानों को यात्रा कार्यक्रमों में शामिल करने के लिए 11 नए पैदल वॉक रूट (वॉकिंग टूर) शुरू किए।

—11 नए वॉक रूट और 8 विस्तृत यात्रा कार्यक्रम लॉन्च

इन नए वॉक रूटों को ‘वाराणसी गुरु’ और ‘एक्सपीरियंस वाराणसी’ जैसे स्थानीय संगठनों के सहयोग से तैयार किया गया है। इसमें शहर की संस्कृति, इतिहास, कला, आध्यात्म और स्थानीय जीवनशैली को समेटते हुए प्रामाणिक कहानियों और अनुभवों को शामिल किया गया है। इन वॉक रूटों को 250 से अधिक टूर ऑपरेटरों, ट्रैवल एजेंटों और गाइडों के सामने प्रस्तुत किया गया। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग के सहयोग से 8 नए यात्रा कार्यक्रम (टूर पैकेज) भी लॉन्च किए गए। इनमें ‘वाराणसी वन्यजीव’ नामक 5-दिवसीय यात्रा कार्यक्रम प्रमुख है, जो पर्यटकों को राजदरी और देवदरी जलप्रपात, चंद्रप्रभा वन्यजीव अभयारण्य और चुनार किले तक लेकर जाता है। वहीं, ‘वाराणसी-विंध्याचल’ यात्रा कार्यक्रम विंध्याचल के प्रसिद्ध मंदिरों की यात्रा कराता है। अन्य यात्रा कार्यक्रमों में प्रयागराज, अयोध्या और चंद्रप्रभा वन्यजीव अभयारण्य जैसे धार्मिक, ऐतिहासिक और प्राकृतिक स्थल शामिल किए गए हैं।

—राज्यमंत्री रवींद्र जायसवाल की अपील

राज्यमंत्री रवींद्र जायसवाल ने टूर ऑपरेटरों और पर्यटन समुदाय से अपील की कि वे इन नए वॉक रूटों और यात्रा कार्यक्रमों को अपने टूर पैकेज में शामिल करें। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री मोदी का सपना है कि काशी को विश्व पटल पर एक पर्यटन हब के रूप में स्थापित किया जाए। इसके लिए स्थानीय स्तर पर सभी की सक्रिय भागीदारी आवश्यक है।” साथ ही उत्तर प्रदेश पर्यटन द्वारा सुझाए गए यात्रा कार्यक्रमों के आधार पर नए पैकेज बनाएँ ताकि काशी में प्रवास की अवधि में विविधता लाई जा सके और उसे 1 दिन से बढ़ाकर कम से कम 3 दिन किया जा सके। कमिश्नर एस. राजलिंगम ने भी पर्यटन उद्योग के सभी सम्बंधित पक्षों को अपने पैकेजों में इन नई पेशकशों को शामिल करने और प्रशासन को नियमित फीडबैक देने का आग्रह किया।

—पर्यटन मंत्रालय और जिला प्रशासन की संयुक्त पहल

इस कार्यशाला के आयोजन में केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय और वाराणसी जिला प्रशासन की महत्वपूर्ण भूमिका रही। कार्यक्रम में मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी, जिला प्रशासन के पदाधिकारी, पर्यटन विशेषज्ञ और निजी क्षेत्र से जुड़े प्रतिनिधि उपस्थित रहे।

(Udaipur Kiran) / श्रीधर त्रिपाठी

Most Popular

To Top