
युवा पीढ़ी रोजगार और सामाजिक जिम्मेदारी दोनों में आगे बढ़ेगी तभी वास्तविक परिवर्तन संभव होगा : राजेश जैन
रोहतक, 26 अगस्त (Udaipur Kiran) । शिक्षा और उद्योग के बीच मजबूत सेतु का निर्माण करने और उच्च शिक्षा को रोजगारोन्मुख, नवाचार-प्रेरित और सामाजिक रूप से प्रासंगिक बनाने के उद्देश्य से महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार इंडस्ट्री-एकेडमिया मीट का सफल आयोजन हुआ। कुलपति प्रो. राजबीर सिंह की अध्यक्षता में आयोजित इस बैठक में रोहतक के प्रतिष्ठित उद्योगपतियों, विभिन्न औद्योगिक क्षेत्रों के प्रतिनिधियों, स्टार्टअप संस्थापकों, शिक्षकों और वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया।
मीट में सभी प्रतिभागियों ने एमडीयू के स्वर्णिम जयंती वर्ष में रोहतक को इंदौर की तर्ज पर स्वच्छ और आदर्श शहर बनाने का संकल्प लिया। साथ ही बैठक में यह तय किया गया कि उद्योग और विश्वविद्यालय मिलकर न केवल शिक्षा व रोजगार के नए अवसर पैदा करेंगे, बल्कि शहर की स्वच्छता, नशा मुक्ति अभियान और पर्यावरण संरक्षण समेत अन्य महत्वपूर्ण सामाजिक पहलों को भी गति देंगे। कुलपति प्रो. राजबीर सिंह ने कहा कि एमडीयू केवल शैक्षणिक उत्कृष्टता तक सीमित नहीं है, बल्कि समाज और उद्योग के साथ मिलकर रोहतक को स्वच्छ, हरित और नशा मुक्त बनाने की दिशा में ठोस कदम उठाने के लिए प्रतिबद्ध है। इस अवसर पर एलपीएस बोसार्ड के मैनेजिंग डायरेक्टर राजेश जैन ने कहा कि एमडीयू और उद्योग का यह साथ रोहतक को नई पहचान दिलाएगा। हम शिक्षा, स्वच्छता और हरियाली को बढ़ावा देने के लिए एमडीयू के साथ हरसंभव सहयोग करेंगे।
उन्होंने कहा कि जब युवा पीढ़ी रोजगार और सामाजिक जिम्मेदारी दोनों में आगे बढ़ेगी, तभी वास्तविक परिवर्तन संभव होगा। रोहित स्टील और निखार कैमिकल्स प्रा. लि. के राजेन्द्र बंसल ने कहा कि स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण हम सबकी जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा कि उद्योग यदि युवाओं के कौशल विकास और सामाजिक अभियानों से जुड़ेगा तो आने वाले समय में रोहतक पूरे देश में एक आदर्श उदाहरण बनेगा। विश्वविद्यालय ने बैठक के दौरान कई ठोस कदमों की घोषणा की। इसमें एमडीयू में इंडस्ट्री रिलेशंस सेल की स्थापना शामिल है, जो उद्योग से सतत संवाद और परियोजनाओं की निगरानी करेगी। इसी प्रकार, उद्योग घरानों में यूनिवर्सिटी रिलेशंस सेल स्थापित करने का प्रस्ताव रखा गया, ताकि दोनों पक्षों के बीच तालमेल लगातार बना रहे। इसके साथ ही वार्षिक विश्वविद्यालय-उद्योग दिवस मनाने का भी सुझाव दिया गया, जो साझा उपलब्धियों और शोध परिणामों को प्रदर्शित करने का मंच बनेगा। इस अवसर पर प्रतिष्ठित उद्योगपति मनमोहन गोयल, जसमेर लाठर, अरविन्द, अंशुल रूहिल, अजय सांगवान, सुरेश गुप्ता, चंद्र गर्ग, सतवंत हुड्डा, अंकुर बतरा, नरेश कुमार जैन ने भी अपने विचार सांझा किए।
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(Udaipur Kiran) / अनिल
