Uttar Pradesh

स्वस्थ जीवनशैली आरोग्य का मूलमंत्र : डॉ. तोमर

एमजीयूजी के आयुर्वेद कॉलेज में अतिथि व्याख्यान*
एमजीयूजी के आयुर्वेद कॉलेज में अतिथि व्याख्यान*

गोरखपुर, 16 जुलाई (Udaipur Kiran) । महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय गोरखपुर (एमजीयूजी) के गुरु गोरक्षनाथ इंस्टिट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (आयुर्वेद कॉलेज) में आरोग्य भारती के सहयोग से एक अतिथि व्याख्यान का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित विश्व आयुर्वेद मिशन के संस्थापक अध्यक्ष डॉ. जीएस तोमर ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन का ध्यान वर्तमान में संक्रामक रोगों से हटकर नॉन कम्युनिकेबल रोगों की तरफ आकृष्ट हो रहा है। इन रोगों को जीवनशैली जन्य रोग भी कहते हैं । चिकित्सा वैज्ञानिकों के अनुसार पचहत्तर प्रतिशत से अधिक जीवनशैली जन्य रोगों को जीवनशैली को सुधार कर रोका जा सकता है। स्वस्थ जीवनशैली ही आरोग्य का मूलमंत्र है।

डॉ. तोमर ने बताया कि डायबिटीज, हाइपरटेंशन, अर्थराइटिस, अस्थमा, कैंसर, महिलाओं में पीसीओएस आदि बीमारियों की बढ़ती संख्या विकृत जीवनशैली का ही परिणाम है। उन्होंने बताया कि आयुर्वेद में आहार, निद्रा और ब्रह्मचर्य जीवन के तीन उपस्तंभ बताए गए हैं। हमारा आहार ही स्वास्थ्य एवं रोग दोनों का कारण है। भोजन का चयन हमेशा प्रकृति, देश, काल एवं ऋतु के अनुसार करना चाहिए। ज्वार, बाजरा, साँवा, कोदों जैसे मिलेट्स हमारी थाली से दूर हो गए हैं। कार्य की व्यस्तता के चलते हम समय पर भोजन नहीं कर पाते। अधिक मानसिक तनाव हमारे पाचनतंत्र को बुरी तरह प्रभावित करता है। परिणामस्वरूप देखते ही देखते हम अनेक मनोदैहिक रोगों की चपेट में आते जा रहे हैं।

डॉ. तोमर ने सुझाव दिया कि रात के आठ बजे के पहले हमें स्वल्प मात्रा में रात्रि भोजन अवश्य कर लेना चाहिये क्योंकि हमारे शरीर के अधिकांश अंग रात में चयापचय के कार्य को बंद कर देते हैं। परिणामस्वरूप देर रात में मात्रा से अधिक किया गया भोजन अनेक रोगों को जन्म देता है। उन्होंने कहा कि ब्राह्म मुहूर्त में उठकर योग, व्यायाम कर व्यक्ति चिरकाल तक स्वस्थ जीवन जी सकता है। इसीलिए स्वस्थ जीवनशैली को आरोग्य का मूलमंत्र माना गया है ।

व्याख्यान कार्यक्रम की अध्यक्षता मॉडर्न मेडिसिन के डीन प्रो. चन्द्रशेखर मूर्ति ने की जबकि विशिष्ट अतिथि के रूप में आरोग्य भारती के गोरक्ष प्रांत के अध्यक्ष डॉ. डीपी सिंह उपस्थित रहे। स्वागत भाषण आयुर्वेद कॉलेज के प्राचार्य डॉ. गिरिधर वेदांतम व आभार ज्ञापन फार्मेसी कॉलेज के प्राचार्य डॉ. शशिकांत सिंह ने किया।

(Udaipur Kiran) / प्रिंस पाण्डेय

Most Popular

To Top