Jammu & Kashmir

भारी बारिश के बाद बडगाम के कई गाँव जलमग्न, स्थानीय लोगों ने मदद की गुहार लगाई

बडगाम, 9 जुलाई हि.स.। मध्य कश्मीर के बडगाम ज़िले के कई इलाकों में बाढ़ जैसी स्थिति ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। रैयार खानसाहिब, कांगरीपोरा और आसपास के इलाके लगातार बारिश से प्रभावित हैं। पिछले दो दिनों से जारी मूसलाधार बारिश के कारण व्यापक जलभराव, कच्चे घरों को नुकसान, दुकानों और सड़कों पर पानी भर गया है, जिससे स्थानीय लोग हताश और असहाय हैं।

ग्रामीण इस बात से बेहद चिंतित हैं कि प्रशासनिक कार्रवाई पूरी तरह से नहीं हो रही है। कई लोगों का आरोप है कि ज़िला प्रशासन का कोई भी अधिकारी या यहाँ तक कि स्थानीय विधायक भी नुकसान का आकलन करने या सहायता प्रदान करने के लिए इलाके का दौरा नहीं किया है।

हम बहुत परेशान हैं। हमारे घरों और दुकानों में पानी घुस गया है और कोई भी अधिकारी हमारी दुर्दशा देखने नहीं आया है। हम ज़िला प्रशासन और खानसाहिब के विधायक से तुरंत दौरा करने और ज़रूरी कदम उठाने की अपील करते हैं। रैयार के एक स्थानीय निवासी ने कहा कि जो अपने बाढ़ग्रस्त घर के बाहर घुटनों तक पानी में खड़ा था।

निचले इलाकों में स्थिति विशेष रूप से गंभीर है जहाँ खराब जल निकासी के कारण पानी जमा हो गया है जिससे संपत्ति को और नुकसान पहुँचने और स्वास्थ्य संबंधी जोखिम पैदा होने की आशंका बढ़ गई है। ज़्यादातर स्थानीय बुनियादी ढाँचे के चरमरा जाने के कारण लोगों का कहना है कि उन्हें अपने हाल पर छोड़ दिया गया है।

कांगरीपोरा के एक दुकानदार जिसका पूरा सामान अब पानी में डूबा हुआ है, ने कहा कि हमारे यहाँ कोई जल निकासी पंप या राहत दल नहीं आया है। हमारा सामान बर्बाद हो रहा है और हमारे बच्चों को सुरक्षित रखने के लिए भी कोई जगह नहीं है।

लगातार बारिश ने हालात और बिगाड़ दिए हैं मिट्टी की दीवारें ढह गई हैं सड़कें नालों में बदल गई हैं और कुछ इलाकों में स्कूलों को बंद करने के लिए मजबूर होना पड़ा है। स्थानीय लोग तत्काल राहत और पुनर्वास प्रयासों की मांग कर रहे हैं जिसमें जल निकासी व्यवस्था की बहाली, विस्थापितों के लिए अस्थायी आश्रयों का प्रावधान और पानी से हुए नुकसान का मौके पर जाकर सर्वेक्षण शामिल है।

जैसे-जैसे बाढ़ का पानी बढ़ता जा रहा है और उम्मीदें कम होती जा रही हैं रैयार खानसाहिब, कांगरीपोरा और अन्य प्रभावित इलाकों के लोग बेचानी से सरकार की मदद की गुहार का इंतज़ार कर रहे हैं।

(Udaipur Kiran) / राधा पंडिता

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