धमतरी, 3 अक्टूबर (Udaipur Kiran) ।नगरी ब्लाक के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय फरसियां के छात्र युवराज यदुराज का माडल दिल्ली के लिए चयन हुआ है। यहां आयोजित होने वाले राष्ट्रीय बाल वैज्ञानिक प्रदर्शनी में वह अपने माडल के माध्यम से सड़क दुर्घटना रोकने के उपाय बताएंगे। जगदलपुर में आयोजित राज्य स्तरीय स्पर्धा से इसका चयन राष्ट्रीय स्तरीय स्पर्धा दिल्ली के लिए हुआ है।
माडल तैयार करने वाले छात्र युवराज ने बताया कि कोई भी व्यक्ति गाड़ी में जब शराब पीकर बैठता है, तो गाड़ी अल्कोहल को खुद पहचान करके गाड़ी के पहिए रोक देता है। गाड़ी का पहिया तब तक रुके रहते हैं, जब तक की अल्कोहल की गंध वहां से समाप्त न हो जाए। यह माडल आने वाले समय में पूरे देश में दुर्घटना को रोकने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। देश में हो रहे दुर्घटना से हर वर्ष लाखों लोगों की दुर्घटना से मृत्यु हो जाती है। शराबी चालकों की गलती के कारण बेगुनाह चालक दुर्घटना के शिकार हो जाते हैं। यह देखकर छात्र युवराज यदुराज यह माडल जनहित में तैयार किया है।
शराबी चालक से वाहन नहीं होगा चालू
छात्र यदुराज ने यह भी माडल बनाया है कि वाहन को यदि कोई व्यक्ति एल्कोहल शराब पीकर चालू करता है, तो वह चालू नहीं हो पाएगा, क्योंकि इसमें एक सेंसर वाहन चालक के मुख के पास लगा होता है, जो शराब का गंध पाते ही वाहन को बंद कर देता है। इससे शराबी व्यक्ति वाहन नहीं चला सकता और दुघर्टना दर निम्न हो जाएगी। इस माडल में दूसरा क्वालिटी यह भी है कि लंबी सफर में वाहन चालक को नींद आने की शिकायत होती है, जिससे दुर्घटना होती है। इसे रोकने उन्होंने इस माडल की सहायता से दुर्घटना होने से बचा सकता है। माडल में ऐसा सेंसर लगा होता है, जो आंख के दो सेकेंड बंद होते ही सायरन बजाती है और संकेत देता है, इसके बाद भी आंख नही खुलने पर वह इंजन को बंद करके ब्रेक लगा देता है। वहीं माडल का तीसरा क्वालिटी यह भी है कि वाहन के सामने कोई भी चीज, वस्तु, व्यक्ति, जानवर आदि के आने से वाहन अपने आप ही रुक जाएगा अर्थात ब्रेक लग जाएगा। इस तरह छात्र का माडल सड़क दुर्घटना रोकने में काफी सहायक है।
प्राचार्य नीरज सोन ने बताया कि छात्र युवराज का यह माडल देश में सड़क दुर्घटनाओं को रोकने में मददगार साबित होगा। विज्ञान प्रभारी अंजना लाउत्रे ने बताया कि शुरू से प्रतिभावान रहे छात्र युवराज का यह माडल देश में लागू करके सड़क दुर्घटना को रोका जा सकता है।
(Udaipur Kiran) / रोशन सिन्हा