
नैनीताल, 17 जुलाई (Udaipur Kiran) । उत्तराखंड हाईकोर्ट ने बाहरी क्षेत्रों के लोगों, विशेष रूप से उड़ीसा के निवासियों के नाम नैनीताल जिले की बुढ़लाकोट ग्राम सभा की पंचायत चुनाव मतदाता सूची में शामिल किए जाने के मामले में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य निर्वाचन आयोग से जवाब तलब किया है।
मुख्य न्यायाधीश जी. नरेंद्र और न्यायमूर्ति आलोक मेहरा की खंडपीठ ने आयोग से पूछा कि बाहरी क्षेत्र के लोगों को मतदाता सूची में शामिल करने के लिए किस मापदंड को अपनाया गया और इसके आधार क्या हैं। कोर्ट ने आयोग को मतदाताओं के सत्यापन का रिकॉर्ड भी पेश करने का निर्देश दिया।
सुनवाई के दौरान आयोग की ओर से दावा किया गया कि मतदाता सूची तैयार करने में तय मापदंडों का पालन किया गया और जिन मतदाताओं पर आपत्तियां दर्ज हुई थीं, उनकी जांच कमेटी ने की थी। हालांकि, याचिकाकर्ता की ओर से इसका विरोध करते हुए कहा गया कि जो लोग बुढ़लाकोट के मूल निवासी नहीं हैं, उनके नाम सूची में शामिल किए गए हैं। इनका नाम ग्राम सभा के पारिवारिक रजिस्टर में दर्ज नहीं है, और जहां नाम हैं, वहां भी कई खामियां पाई गई हैं।
मामले में याचिकाकर्ता बुढ़लाकोट निवासी आकाश बोरा ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की थी। उन्होंने आरोप लगाया कि गांव की मतदाता सूची में बाहरी क्षेत्र के 82 मतदाताओं के नाम शामिल किए गए हैं। इसमें से अधिकांश उड़ासी के निवासी हैं। याचिका में कहा कि जब इसकी शिकायत एसडीएम से की गई तो एसडीएम की ओर से जांच कमेटी गठित की गई। कमेटी ने मतदाता सूची का जांच की तो पाया गया कि सूची में 18 लोग बाहरी क्षेत्र के निवासी हैं लेकिन अंतिम सूची जारी होने के बाद भी चिन्हित 18 लोगों के नाम मतदाता सूची से नहीं हटाए गए।
कोर्ट ने इस मामले पर सुनवाई आज भी जारी रखी और आगे की कार्रवाई के लिए 18 जुलाई की तारीख निर्धारित की।
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(Udaipur Kiran) / लता
